बिहार की राजधानी पटना के कंकड़बाग थाना क्षेत्र से एक चौंकाने वाली और दिल को झकझोर देने वाली घटना सामने आई है। द्वारिका कॉलेज के पास रोड नंबर 10 पर रहने वाली राधिका सिन्हा ने मंगलवार को सल्फास खाकर आत्महत्या कर ली। जब परिवार उन्हें इलाज के लिए अस्पताल ले गया, उसी दौरान घर में भीषण चोरी हो गई। राधिका की मौत से उबरे भी नहीं थे कि घर की तिजोरी और सामान गायब देखकर परिवार पूरी तरह सदमे में आ गया।
इलाज के बीच घर में सेंधमारी, चोरों ने लूट लिया सूनापन
घटना के अनुसार, राधिका सिन्हा, जो विवेक सिन्हा की पत्नी थीं, ने अज्ञात कारणों से आत्महत्या कर ली। जैसे ही परिजनों को इसका पता चला, वे तुरंत उन्हें अस्पताल ले गए। इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। गुरुवार को जब परिजन शव के साथ घर लौटे, तो देखा कि दरवाजे के ताले टूटे हुए थे और अंदर का सारा सामान बिखरा पड़ा था।
पुलिस के अनुसार, चोरों ने घर में घुसकर अलमारी और दराजें खंगाल डालीं। परिवार इस दोहरी त्रासदी से पूरी तरह टूट चुका है।
एसएसपी ने थानेदार को लगाई फटकार, जांच तेज
घटना की सूचना मिलते ही पटना के एसएसपी अवकाश कुमार खुद मौके पर पहुंचे और कंकड़बाग थानेदार को लापरवाही के लिए कड़ी फटकार लगाई। उन्होंने सवाल उठाया कि जब यह स्पष्ट था कि घर खाली है, तो सुरक्षा के उपाय क्यों नहीं किए गए?
फिलहाल, सदर एएसपी-1 अभिनव की निगरानी में जांच शुरू हो चुकी है। इलाके के सीसीटीवी फुटेज खंगाले जा रहे हैं। पुलिस का कहना है कि चोरी में शामिल संदिग्धों की पहचान के लिए आसपास के लोगों से भी पूछताछ की जा रही है।
सदमे में डूबा परिवार, नहीं कर पा रहा चोरी का आकलन
राधिका सिन्हा की मौत के बाद पूरा परिवार गहरे दुख में है। इस कारण वे चोरी गए सामान का मूल्यांकन तक नहीं कर पा रहे हैं। पुलिस का कहना है कि जैसे ही परिवार मानसिक रूप से स्थिर होगा, विस्तृत जानकारी दर्ज की जाएगी।
एक दर्द, दो वार: प्रशासन की नाकामी या अपराधियों का दुस्साहस?
यह घटना न सिर्फ एक पारिवारिक त्रासदी है, बल्कि प्रशासन के लिए भी चेतावनी है। एक ही घर में आत्महत्या और चोरी की घटना ने पटना पुलिस की सक्रियता और सुरक्षा व्यवस्था पर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है।