पटना की राजनीति में उस समय बवाल मच गया जब महापौर Sita Sahu के बेटे Shishir Kumar ने अचानक वीडियो जारी कर पूरे प्रशासन को कठघरे में खड़ा कर दिया। पुलिस जिनकी तलाश में लगातार छापेमारी कर रही थी, उसी युवक ने खुद को निर्दोष बताते हुए खुद सामने आकर प्रशासन की मंशा पर ही सवाल खड़े कर दिए।
वीडियो में Shishir Kumar ने खुद को भाजपा प्रदेश कार्यसमिति का सदस्य और पटना महापौर का प्रतिनिधि बताया। उन्होंने कहा- “मैं शहर में ही हूं। प्रशासन राजनीतिक दबाव में कार्रवाई कर रहा है। जब पुलिस निष्पक्ष जांच करेगी तो मैं खुद हाजिर हो जाऊंगा।”
शिशिर कुमार का सवाल – ‘सिर्फ केस लिख देने से कोई दोषी हो जाता है?’
Shishir Kumar ने वीडियो में प्रशासन से आग्रह किया कि पहले तथ्यों की जांच हो। उन्होंने सीसीटीवी फुटेज खंगालने की मांग की और कहा- “आप धमकी और मारपीट का केस दर्ज करते हैं, लेकिन क्या सिर्फ एफआईआर से कोई दोषी साबित हो जाता है? पहले जांच करिए फिर बुलाइए।”
‘ना डरूंगा, ना झुकूंगा’, भ्रष्टाचार के खिलाफ छेड़ी मुहिम पर अड़ा महापौर परिवार
वीडियो में Shishir Kumar के तेवर सख्त और ललकार आत्मविश्वास से भरी हुई थी। उन्होंने कहा- “मैं न डरूंगा, न झुकूंगा। अगर Patna Municipal Corporation में फैले भ्रष्टाचार के खिलाफ मेरी मां Sita Sahu ने मुहिम छेड़ी है तो वो किसी भी कीमत पर रुकेगी नहीं।”
क्या यह प्रशासन का दमन है या सियासी षड्यंत्र?
Shishir Kumar ने दावा किया कि पटना नगर निगम में व्याप्त भ्रष्टाचार के खिलाफ उनकी मुहिम को रोकने के लिए उन पर झूठे केस किए जा रहे हैं। सवाल यह उठ रहा है कि जब प्रशासन उनकी तलाश में है, तो वे खुलेआम शहर में रहकर पुलिस को चुनौती कैसे दे रहे हैं? क्या यह सच में सियासी षड्यंत्र है या फिर पर्दे के पीछे कोई और खेल चल रहा है?