₹50,000 में मौत को बनाया ‘हादसा’! यूपी में पोस्टमार्टम रिपोर्ट घोटाले से कांपे लोग

उत्तर प्रदेश के संभल जिले में ₹50 हजार की रिश्वत लेकर बदली जा रही थी हत्या की पोस्टमार्टम रिपोर्ट, फार्मासिस्ट और कंप्यूटर ऑपरेटर गिरफ्तार

Up Postmortem Report Scam Sambhal Murder Corruption
Up Postmortem Report Scam Sambhal Murder Corruption (Source: BBN24/Google/Social Media)
मुख्य बातें (Highlights)
  • हत्या को आत्महत्या बनाने की कीमत थी ₹50,000
  • पोस्टमार्टम रिपोर्ट में फेरबदल कर फंसाया जा रहा था निर्दोष
  • फार्मासिस्ट और ऑपरेटर की गिरफ्तारी से खुला भ्रष्टाचार का राज

उत्तर प्रदेश के Sambhal जिले में मर्डर को दुर्घटना साबित करने के लिए सरकारी तंत्र को ही खरीदा जा रहा था। 19 मई को एक युवती की हत्या के बाद, ₹50,000 की रिश्वत लेकर पोस्टमार्टम रिपोर्ट में हेराफेरी की गई ताकि असली हत्यारों को बचाया जा सके और निर्दोष प्रेमी को जेल भेजा जाए।

₹50 हजार में बदल रही थी इंसाफ की रिपोर्ट

पुलिस जांच में सामने आया है कि हत्या के आरोपी पक्ष ने स्थानीय फार्मासिस्ट और एक कंप्यूटर ऑपरेटर से सौदा कर ₹50,000 में पोस्टमार्टम रिपोर्ट में फेरबदल करवाया। इन दोनों को पुलिस ने पकड़ लिया है और उनके मोबाइल से चैट, बैंक ट्रांजैक्शन और रिपोर्ट की कॉपी बरामद की गई है।

DM ने गठित की जांच कमेटी

मामले की गंभीरता को देखते हुए संभल के जिलाधिकारी (DM) ने उच्च स्तरीय जांच कमेटी बना दी है। शुरुआती जांच में सामने आया है कि यह मामला अकेला नहीं है। जिले के Junawai और Asmoli इलाकों में भी ऐसी ही संदिग्ध पोस्टमार्टम रिपोर्ट के मामले उजागर हो रहे हैं।

डॉक्टरों की भूमिका पर भी सवाल

पोस्टमार्टम रिपोर्ट तैयार करने का जिम्मा डॉक्टरों का होता है, इसलिए अब स्वास्थ्य विभाग के कई डॉक्टरों पर भी शक की सुई घूम रही है। कई वरिष्ठ डॉक्टर जांच के घेरे में हैं, जिनकी भूमिका संदेह के घेरे में है।

फर्जीवाड़े की गहराई में गई पुलिस

पुलिस का कहना है कि इस घोटाले का जाल काफी गहरा है। स्वास्थ्य विभाग के कुछ वरिष्ठ अधिकारियों और CMO ने इस मुद्दे पर गोपनीय बैठकें भी कीं। जब आरोपियों को पुलिस ने पुख्ता सबूत दिखाए, तो उन्होंने पहले गलती से इनकार किया और बाद में माफी मांग ली।

अब होगी सख्त कार्रवाई

प्रशासन ने इस मामले को बेहद संवेदनशील माना है। DM ने साफ कर दिया है कि अब इस घोटाले में शामिल हर व्यक्ति — चाहे वो डॉक्टर हो, स्वास्थ्य कर्मी हो या पुलिस — को कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा। जल्द ही कई बड़े नामों के सामने आने की उम्मीद है।

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