बिहार की राजनीति में उस समय गर्मी और बढ़ गई जब तेजस्वी यादव ने प्रधानमंत्री Narendra Modi पर सीधा हमला करते हुए उन्हें ‘पॉकेटमार’ कह दिया। Siwan में हुई एक रैली के बाद उनके इस बयान ने सियासी हलचल मचा दी। बीजेपी और एनडीए के अन्य दलों ने इस बयान को अभद्र बताते हुए तेजस्वी को आड़े हाथों लिया।
हालांकि अब Tejashwi Yadav ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर एक विस्तृत पोस्ट साझा कर अपने विवादित बयान की सफाई दी है।
तेजस्वी यादव ने क्या कहा?
तेजस्वी यादव ने लिखा,
“सरकारी खर्चे से यानी जनता की पॉकेट से प्रधानमंत्री की एक रैली का खर्च लगभग 100 करोड़ रुपये है। बीते 5 चुनावों (2014-15, 2019-20, 2024) में पीएम मोदी बिहार में 200 से अधिक रैलियां कर चुके हैं। कुल खर्च: 200 * 100 = 20,000 करोड़ रुपये!”
उन्होंने आगे तंज कसते हुए कहा कि प्रधानमंत्री एक सरकारी आयोजन के नाम पर आते हैं, लेकिन मकसद महज चुनाव प्रचार और विपक्ष पर हमले करना होता है। जनता की गाढ़ी कमाई को अपने प्रचार के लिए खर्च करना ही ‘पॉकेटमारी’ है।
“गरीब बिहार को कुछ नहीं देते, लेकिन लेते सब कुछ हैं”
तेजस्वी यादव ने अपनी पोस्ट में लिखा:
“अगर बिहार जैसे गरीब राज्य को कुछ देना नहीं चाहते, तो जनता से लेना भी बंद कीजिए। जो जनता की जेब से 20 हजार करोड़ रुपये निकाल ले, उसे मददगार नहीं, पॉकेटमार ही कहा जाएगा।”
विपक्ष का पलटवार और भाजपा की नाराजगी
तेजस्वी के इस बयान के बाद बीजेपी नेताओं ने इसे शर्मनाक करार दिया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री के लिए इस तरह के शब्दों का इस्तेमाल करना निंदनीय है। वहीं, राजद समर्थक तेजस्वी के तर्क को तथ्यों पर आधारित बता रहे हैं।