राहुल-तेजस्वी के ट्रक से क्यों उतारे गए पप्पू यादव? अब खुद तोड़ी चुप्पी, बताया पूरा सच

महागठबंधन मार्च में ओपन ट्रक से रोके गए पप्पू यादव ने दिया बड़ा बयान, बोले- "अपमान नहीं, विचारधारा से हूं जुड़ा"

Rohit Mehta Journalist
Pappu Yadav Statement On Rahul Tejashwi Truck Incident
Pappu Yadav Statement On Rahul Tejashwi Truck Incident (Source: BBN24/Google/Social Media)

पटना में बुधवार को आयोजित महागठबंधन के वोटर लिस्ट रिवीजन विरोध मार्च के दौरान एक ऐसा दृश्य सामने आया जिसने बिहार की सियासत को गरमा दिया। पूर्णिया से निर्दलीय सांसद पप्पू यादव जब राहुल गांधी और तेजस्वी यादव के साथ ओपन ट्रक में चढ़ने की कोशिश कर रहे थे, तभी सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें रोक दिया। अब इस पूरे घटनाक्रम पर पप्पू यादव ने अपनी चुप्पी तोड़ते हुए बड़ा बयान दिया है।

अपमान नहीं, विचारधारा का रिश्ता बताया

पप्पू यादव ने साफ कहा कि उन्हें किसी तरह का अपमान नहीं हुआ, बल्कि धक्कामुक्की में उन्हें हल्की चोट आई है। उन्होंने कहा, “कांग्रेस के साथ मेरा विचारधारा का रिश्ता है, और कोसी-सीमांचल की जनता के साथ मेरा भावनात्मक जुड़ाव है। अपमान की कोई बात ही नहीं है।” उन्होंने यह भी जोड़ा कि जनता से बड़ा कोई नहीं होता, और अगर इसके लिए एक लाख बार भी अपमानित होना पड़े, तो भी मंजूर है।

गठबंधन का हिस्सा नहीं, फिर भी मौजूद रहा समर्थन

अपने बयान में पप्पू यादव ने यह भी कहा कि वे किसी गठबंधन में नहीं हैं, और वहां सभी दलों के नेता मौजूद थे। किसी एक को नाम लेकर नहीं बुलाया गया था। उन्होंने कहा, “कोरोना में मदद करूं तो भी जीरो, बाढ़ में राहत दूं तो भी जीरो… सीमांचल से सात बार सांसद रहा हूं, लेकिन फिर भी नजरअंदाज किया गया।” उनके इस बयान से राजनीतिक उपेक्षा को लेकर गहरी पीड़ा झलकी।

वायरल हुआ वीडियो, सोशल मीडिया पर मचा हंगामा

घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है, जिसमें पप्पू यादव ट्रक में चढ़ने की कोशिश करते दिखते हैं और सुरक्षाकर्मी उन्हें हाथ दिखाकर रोकते हैं। यही नहीं, कांग्रेस नेता कन्हैया कुमार को भी उसी ट्रक में चढ़ने से रोका गया, जिससे सियासी गलियारों में अटकलों का बाजार गर्म हो गया।

राहुल गांधी और तेजस्वी यादव ने किया था मार्च का नेतृत्व

बता दें कि महागठबंधन के इस मार्च की अगुवाई खुद राहुल गांधी और तेजस्वी यादव ने की थी। दिल्ली से आए राहुल गांधी ने आयकर गोलंबर से मार्च शुरू किया और एक ओपन ट्रक से इस प्रदर्शन की कमान संभाली। इस दौरान कांग्रेस, RJD समेत गठबंधन के तमाम दलों के नेता और कार्यकर्ता सड़कों पर मौजूद रहे। लेकिन जिस तरह से पप्पू यादव को मंच से दूर रखा गया, उसने कई राजनीतिक सवाल खड़े कर दिए हैं।

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